Tuesday, November 15, 2022

हल्दी को हल्के में ना लें♥️

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हल्दी को हल्के में ना लें♥️

 हल्दी की गांठ (पीले कपड़े में हल्दी की गांठ और सरसों के कुछ दाने बांधकर दाई बाजू में या लॉकेट की तरह गले में पहनना) या पुखराज एक बराबर फायदा करते हैं और हल्दी की गांठ थोड़ा ज्यादा करती है क्योंकि उससे जातक के पैसें बचते हैं, मेरा उद्देश्य ये कहना कतई नहीं था कि पुखराज रत्न खराब है या कम असरदार है, लेकिन मेरा उद्देश्य ये हमेशा रहता है कि अगर दस का काम पाँच में और पाँच का काम मुफ्त में हो रहा हो तो मैं जातक को मुफ्त वाला रास्ता बताऊँ, क्योंकि शायद वही रास्ता जानने जातक ज्योतिषी के पास आता भी है।

उस पोस्ट पर बहुत सकारात्मक प्रतिक्रियाएं मिली कई लोगों ने कहा हमने इस तरह कभी सोचा ही नहीं आगे से ऐसे भी सोचेंगे, कुछ ने कहा हम इसे आजमाकर देखेंगे, पर कुछ लोग राशन पानी लेकर मुझ पर चढ़ गए उनमें से कुछ ने कहा ये बड़ी फालतू बात है कुछ ने कहा कि पुखराज देशी घी है और हल्दी डालडा दोनों की कोई तुलना नहीं।

मुझे इस विषय पर बस थोड़ी सी बात कहनी है जो उस दिन रह गयी थीं, हल्दी और पुखराज की तुलना ही गलत है पुखराज एक रत्न है जिसका दूसरा या तीसरा उपयोग मैं नहीं जानता, उसकी तुलना में हल्दी एक औषधीय पौंधा है जो ना सिर्फ औषधि के रूप में प्रयोग किया जाता है बल्कि उसका अपना धार्मिक महत्व भी है, हल्दी इतनी गुणकारी है कि अमेरिका जैसे देश की एक यूनिवर्सिटी ने उसका पेटेंट करवा लिया था फिलहाल केस में भारत को जीत मिल चुकी है ।

हाँ एक बात से मैं पूरी तरह सहमत हूँ पुखराज पहनना मॉर्डन लगेगा हल्दी की गांठ गले में पहनना या दायीं बाजू में बांधना उतना कूल नहीं लगेगा, हल्दी, पीला कपड़ा और पीला धागा शुरुआत में रंग भी छोड़ेगा जिससे कपड़े खराब हो सकते हैं।

अंत में मैं फिर से वही कहूँगा मेरा उद्देश्य ये कहना कतई नहीं है कि पुखराज रत्न खराब है या कम असरदार है उसकी अपनी उपयोगिता है लेकिन हल्दी को हल्के में ना लें।🌺🙏🏻

नोट:- पीले कपड़े में हल्दी की गांठ और काली सरसों के बीज बाँधकर/सिलकर पीले डोरे के साथ उसे दाएं बाजू या गले में गुरूवार के दिन सूर्योदय के समय गंगा जल और कच्चे दूध से धोकर धारण कीजिए ठीक उस तरह जिस तरह रत्न धारण करते हैं।

#हल्दी_बनाम_पुखराज
#ज्योतिष_दर्शन 
#विपुल
#रिपोस्ट

Posted By KanpurpatrikaTuesday, November 15, 2022

मूंगा रत्न पहनने के 15 चमत्कारी फायदे -

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मूंगा रत्न पहनने के 15 चमत्कारी फायदे - 

मूंगा रत्न स्वयं किसी चमत्कार से कम नहीं है, यह एक जैविक रत्न है, जो विभिन्न जीवो के द्वारा समुद्र के गर्भ में इसका निर्माण होता है, यह देखने में रक्त के समान लाल रंग का होता है तथा इसमें प्राकृतिक रूप से विद्यमान अनेक प्रकार की सफेद रेखाएं मौजूद होती है, जो इसे और अधिक अद्भुत बनाती हैं, मूंगा रत्न पूरी दुनिया में सबसे उत्तम गुणवत्ता वाला इटली का माना जाता है इसीलिए इटालियन मूंगा रत्न लोगों में काफी लोकप्रिय है, इसके विशिष्ट गुणों के वजह से इसके लाभ भी बहुत अधिक प्राप्त होते हैं।

मूंगा रत्न मंगल ग्रह से संबंधित एक रत्न होता है तथा विविध प्रकार की चीजें जैसे- प्रशासनिक विभाग, सेना, पुलिस , मकान या निर्माण, हथियार आदि का नेतृत्व मंगल ग्रह के द्वारा किया जाता है, मंगल ग्रह अग्नि तत्व को निरूपित करता है, इसी वजह से हमारे अंदर ऊर्जा का कारक मंगल ग्रह को माना जाता है। 

नौ ग्रहों में मंगल ग्रह को सेनापति की उपाधि से अलंकृत किया जाता है, सेनापति जिसके बिना अनुमति के कोई भी किसी राज्य में प्रवेश नहीं कर सकता है सूर्य नौ ग्रहों के राजा है और मंगल सेनापति इसलिए राजा सूर्य तथा सेनापति मंगल की युक्ति जातक को हमेशा अद्भुत लाभ प्रदान करते हैैैै।

मूंगा रत्न को धारण करने से किसी भी जातक के जीवन में निम्नलिखित चमत्कार हो सकते हैं -

• मूंगा रत्न मंगल ग्रह को निरूपित करता है इसकी वजह से जिस भी जातक के द्वारा इस रत्न को धारण किया जाता है, उसके जीवन में आलस्य जैसी समस्या को यह रत्न दूर कर उसे ऊर्जावान बनाता है एवं उसे अपने कर्तव्यों के प्रति निष्ठावान बनाता है।

• मूंगा रत्न का उपयोग छोटे बच्चों के सुरक्षा घेरा को और अधिक मजबूत बनाने के लिए किया जाता है, छोटे बच्चे को मूंगा रत्न को सोना चांदी या तांबा में जड़वा कर पहनाया जाता है, जिससे उस पर ऊपरी शक्तियां हावी नहीं होती है या ऊपरी शक्तियां बच्चे के आभामंडल को दूषित नहीं कर पाती हैं, बच्चे के ऊपर टोना टोटका जादू नजर दोष आदि चीजें विफल हो जाती हैं, यह रत्न ऐसी चीजों का दुष्प्रभाव पूरी तरह नष्ट करने की क्षमता रखता है।

• मूंगा रत्न धारण करने से जातक दृढ़ निश्चय दृढ़ संकल्पित व्यक्तित्व वाला व्यक्ति बनता है, जिससे उसके लक्ष्य को बाधित करने वाले कितने भी विघ्न या बाधा क्यों नहीं आते, फिर भी जातक का दृढ़ संकल्प एवं दृढ़ निश्चय स्वभाव को बदलने में सक्षम नहीं हो पाते हैं तथा जातक परिस्थितियों से जूझते हुए अपने स्वर्णिम लक्ष्य को प्राप्त करने की संभावना को बहुत अधिक बढ़ा देता है।

• बहुत से ऐसे लोग होते हैं जिनमें आलस्य जैसी चीज उनका जीवन पूरा बर्बाद कर देती है, आलस्य होने की वजह से उनमें व्याप्त अविश्वसनीय गुण भी बेकार हो जाता है क्योंकि सही समय पर अपने गुणों का उपयोग करने की जगह जातक आलस्य प्रवृत्ति होने की वजह से अपने कार्यों को पूरी तरह से टालता रहता है, जिसके दुष्प्रभाव के कारण वह जिस भी क्षेत्र से संबंधित होता है उसमें उसे हानि ही होती है, उसके कार्य का दिनोंदिन क्षरण होता चला जाता है, ऐसे में यह रत्न ऐसे लोगों के लिए किसी चमत्कार या किसी वरदान से कम नहीं है क्योंकि यह उनकी संरचना को सुधारने में बहुत मदद करता है तथा आलस्य जैसी बीमारी को दूर करने में बहुत कारगर होता है एवं जातक का पूरा ध्यान उसके कार्यों की ओर केंद्रित करता है जिससे जातक अपने अविश्वसनीय कौशलों का उपयोग अपने कार्यों को पूर्ण करने में लगाता है।

• रक्त से संबंधित विकार हो या मिर्गी जैसी बीमारी हो या पीलिया जैसे रोग इन सभी रोगों में यह रत्न चमत्कारिक रूप से अपना असर दिखाता है तथा जातक को अप्रतिम रूप से स्वास्थ्य लाभ प्रदान करता है।

• मूंगा रत्न हमारे आत्मविश्वास को बढ़ाता है, इसके साथ-साथ हमारे मन में व्याप्त किसी भी प्रकार का भय को यह पूरी तरह से नष्ट कर देता है, यह हमारे अंदर के नकारात्मकता को दूर करता है, जिससे हमारे अंदर सकारात्मक ऊर्जा का संचरण होने लगता है एवं हम अपने कार्यों का निर्वहन बहुत ही अच्छे तरीके से कर पाते हैं।

• मूंगा रत्न को धारण करने से जातक के अंदर अद्भुत नेतृत्व क्षमता का विकास होता है, जिससे जीवन में आने वाली विभिन्न प्रकार की विषम परिस्थितियों में भी जातक अचल रहता है, उसका निडर व्यक्तित्व का गुण विषम परिस्थितियों पर भी विजय प्राप्त करने की प्रेरणा देते हैं।

• इस रत्न के चमत्कार के कारण किसी ऐसी महिला जो गर्भ धारण करना चाहती है एवं चाहती है कि उसके गर्भ का पात ना हो तो ऐसी परिस्थिति में उसे गर्भ के शुरुआती कुछ महीनों में यह रत्न अवश्य धारण करना चाहिएl यह रत्न उसके गर्व की सुरक्षा करने में बहुत कारगर सिद्ध होता है।

• हमारे पूर्वजों के द्वारा मूंगा रत्न का उपयोग विभिन्न प्रकार के विषधर के विष को कम करने के लिए उपयोग में लाया जाता था, जब कभी किसी को कोई विषधर काट लेता तो ऐसी परिस्थिति में इस रत्न को उक्त जगह पर रगड़ने से विष का प्रभाव बहुत हद तक कम हो जाता था, आज भी यह पद्धति बहुत से सुदूर इलाकों में उपयोग में लाया जाता है किंतु विस्तृत ज्ञान के अभाव में यह पद्धति लोगों में अधिक प्रचलित नहीं है।

• प्रशासनिक विभाग में ऊंचे पद पर प्रतिष्ठित होने के लिए मंगल ग्रह का बहुत मजबूत होना आवश्यक होता है यह रत्न मंगल ग्रह के अनुकूल प्रभाव को और अधिक मजबूत एवं प्रभावशाली बनाता है इसलिए प्रशासनिक विभाग के लोगों के द्वारा मूंगा रत्न धारण किए जाने पर उन्हें अप्रतिम लाभ प्राप्त होता है।

• मंगल ग्रह की भौतिक ऊर्जा को प्राप्त करने के लिए भी इस रकम का उपयोग लोगों के द्वारा किया जाता है।

• मंगल ग्रह के द्वारा विभिन्न प्रकार के ग्रहों के साथ मिलकर बनाए गए अन्य अशुभ योग में भी मूंगा रत्न बहुत कारगर सिद्ध होता है, जैसे- मांगलिक योग में भी इस रत्न का बहुत अधिक गहरा प्रभाव पड़ता है, वैवाहिक जीवन में स्थिरता लाने के लिए भी यह रत्न धारण किया जाता है दांपत्य जीवन खुशियों से भरा रहे इसलिए भी यह रत्न धारण किया जाता है, इस रत्न के प्रभाव से किसी भी जातक के दांपत्य जीवन के विभिन्न कष्ट दूर होते हैं एवं सुख समृद्धि कावास उनके घर में आसीन होता है।

अभिमंत्रित मूंगा रत्न कहाँ से प्राप्त करें ? 

मित्रों यदि आप चाहें तो हमारे नवदुर्गा ज्योतिष केंद्र से अभिमंत्रित मूंगा रत्न मंगा सकते हैं जो हमारे यहाँ लम्बा मूंगा 300 रुपए रत्ती मिल जायेगा और त्रिकोण मूंगा 400 रुपये रत्ती मिल जाएगा, लैब सर्टिफिकेट और गारंटी कार्ड साथ में दिया जाएगा साथ ही साथ मुफ्त में अभिमंत्रित भी करके दिया जाएगा – Call and Whatsapp – 7567233021

Posted By KanpurpatrikaTuesday, November 15, 2022