कुंडली का मास्टर प्लेनेट
हर कुंडली में नौ ग्रह और बारह राशियों का अध्ययन किया जाता है परन्तु कुंडली केवल इन्ही पर निर्भर नहीं करती. कुंडली में एक विशेष ग्रह होता है जो कुंडली का प्राण होता है. वह विशेष ग्रह कुंडली का मास्टर प्लेनेट है. अगर यह ग्रह कमजोर है तो कुंडली में कोई सफलता नहीं मिलती. अगर केवल वही ग्रह मजबूत है तो व्यक्ति जीवन में खूब सफलता पाता है.
मेष लग्न:-
- इस लग्न के लिए सूर्य चमत्कारी परिणाम देता है
- सूर्य को मजबूत करके हर तरह की सफलता पायी जा सकती है
- साथ ही हमेशा स्वास्थ्य को अच्छा रक्खा जा सकता है
- नित्य प्रातः सूर्य को जल अर्पित करना बेहद लाभकारी होता है
वृष लग्न:-
- इस लग्न के लिए सब कुछ शनि ही है।
- शनि मजबूत रहे तो हर समस्या का समाधान हो जाता है।
- शनि को ठीक रखकर धन और सेहत की समस्या से बच सकते हैं ।
- शनि को मजबूत करके वैभव और रिश्तों का वरदान मिलेगा ।
- कोई भी बीमारी बड़ा रूप धारण नही कर पायेगी।
- हर शनिवार को पीपल के नीचे सरसों के तेल का दीपक जलाएं ।
मिथुन लग्न:-
- इस लग्न का कर्म और कर्म का फल दोनों बुध पर निर्भर है
- बुध को ठीक रखकर अपनी सोच को ठीक रख सकते हैं
- साथ ही आर्थिक मजबूती पा सकते हैं
- बुध के कमजोर होने पर बुद्धि भ्रष्ट हो जाती है
- नित्य प्रातः भगवान गणेश की उपासना सर्वोत्तम होगी
कर्क लग्न:-
- इस लग्न के पास सबसे बड़ी शक्ति मंगल है।
- मंगल ठीक रहे तो सब ठीक रहता है।
- ख़ास तौर से दुर्घटनाओं और सेहत की समस्या से रक्षा होती है।
- व्यक्ति जीवन में कम प्रयास करके भी सफलता पाता है
- हनुमान जी की उपासना खूब लाभकारी होती है ।
सिंह लग्न:-
- इस लग्न की ताकत बृहस्पति और मंगल हैं
- यह हर तरह के उतार चढ़ाव से बचाएंगे ।
- इससे आपके जीवन में संघर्ष कम होता जाएगा ।
- साथ ही साथ आपका प्रभाव बढ़ता जाएगा ।
- सूर्य की उपासना सदैव लाभकारी होगी ।
कन्या लग्न:-
- इस लग्न के लिए शुक्र सबसे ज्यादा बेहतरीन परिणाम देता है
- शुक्र को मजबूत करके वैभव और रिश्तों का वरदान मिलेगा।
- साथ ही व्यक्ति व्यक्तित्व प्रभावशाली हो जाता है
- व्यक्ति जीवन में बहुत विलास और ग्लैमर प्राप्त करता है
- शिव जी की उपासना करना विशेष लाभकारी होता है
तुला लग्न:-
- इस लग्न की चाभी शनि के पास है
- शनि अगर बेहतर हो तो व्यक्ति अपूर्व सफलता प्राप्त करता है
- जीवन में कभी भी किसी चीज़ का अभाव नहीं होता
- व्यक्ति समाज में हमेशा एक विशिष्ट स्थान प्राप्त करता है
- शनिवार को अन्न या भोजन का दान करना लाभकारी होगा ।
वृश्चिक लग्न:-
- वृश्चिक लग्न के लिए बृहस्पति सर्वाधिक महत्वपूर्ण है
- बृहस्पति को ठीक रखकर धन, संतान और ज्ञान का वरदान मिल सकता है
- बृहस्पति को ठीक रखने से लाभ ही लाभ होगा
- एक पीला पुखराज, स्वर्ण या पीतल में पहनें
- इसे तर्जनी अंगुली में, बृहस्पतिवार प्रातः धारण करें
धनु लग्न:-
- इस लग्न की शक्ति मंगल के पास है
- मंगल को ठीक रखकर संघर्ष कम होगा
- मुकदमों और विवादों से छुटकारा मिलेगा
- शनि के हर दुष्प्रभाव से रक्षा होगी
- यथाशक्ति हनुमान जी की उपासना करें।
मकर लग्न:-
- इस लग्न के लिए शुक्र सर्वाधिक महत्वपूर्ण है
- शुक्र से ही इनको विद्या, बुद्धि, करियर और धन की प्राप्ति होती है
- शुक्र ही इनका स्वास्थ्य ठीक रखेगा और संतान की समस्या दूर करेगा
- एक हीरा अथवा जरकन धारण करना लाभकारी होगा
- जहाँ तक हो सके शराब और नशे से परहेज करें।
कुम्भ लग्न:-
- हालांकि इस लग्न के लिए बुध और शुक्र दोनों अनुकूल होते हैं
- फिर भी आपके लिए शुक्र ज्यादा महत्वपूर्ण है
- शुक्र के कारण ये करियर की ऊंचाइयों को छू पाएंगे।
- और हर तरह की मानसिक समस्याओं से बचे रहेंगे।
- ज्यादा से ज्यादा सफ़ेद वस्त्र धारण करें ।
- यथाशक्ति शिव जी की उपासना करें ।
मीन लग्न:-
- मीन लग्न की ताकत चन्द्रमा में छिपी होती है
- चन्द्रमा के कारण ही ये ज्ञानी, शानदार और सफल हो पाते हैं
- चन्द्रमा से आप अच्छाi करियर और संपत्ति पा सकेंगे।
- एक मोती चांदी में अवश्य धारण करें
- इसे सोमवार रात्रि को, कनिष्ठा अंगुली में पहनें।
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