Monday, August 30, 2010

एक लड़की

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एक लड़की


एक लड़की का मासूम चेहरा तनहा वो अपनों में है

होठ है खामोश लेकिन बोलती नजरो से है

जिंदगी सुख दुःख का सागर कोसती किस्मत को है


फिर भी दुःख सहकर भी उसको आस आखिर सुख की है ....




भीड़



तारो की भीड़ में भी ऐसा

एक सितारा तनहा है जो बेचारा

सोचता है एक दिन होगा कोई सहारा


उम्मीद में किसी के बेटे जीवन का सारा .....



याद



याद में किसी की इस कदर खो गए है
होश न रहा की बेखबर हो गए  है
जेहन जब तलक उनकी यादो का असर है
आप क्या जाने मेरी यादों का सबब है
यादो में खोकर आपकी दरबदर हो गए है
याद में किसी की इस कदर खो गए है
आपकी यादो को जेहन से मिटा देंगे हम
नजरो से दूर हो के तुमको भी भुला देंगे हम
अगर नाकाम हुए अपनी कोशिशो में हम
ये वादा है मेरा 
                                           खुद को ही मिटा देंगे हम ....

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